क्या कोरोना के खौफ के बीच स्वीमिंग पूल में तैरना उपयुक्त है, जानें

कोरोनावायरस अभी तक कमजोर नहीं पड़ा है, लेकिन आर्थिक हालात को देखते हुए देश और दुनिया के देशों ने लॉकडाउन में ढील देनी शुरू कर दी है। लॉकडाउन में ढील मिलते ही शौकीन लोग अपनी जान की परवाह किए बगैर अब अपने शौक पूरे करने निकल पड़े हैं। इस दौर में जहां फिजिकल डिस्टैंसिंग जरूरी है, वहीं स्वीमिंग का शौक रखने वाले लोग पूल में स्वीमिंग करने के लिए भी तैयार हैं।
लेकिन सवाल ये उठता है क्या कोरोना वायरस वैश्विक महामारी के दौरान किसी समुद्र तट या पूल में तैराकी करना सुरक्षित है? स्वास्थ्य अधिकारियों के मुताबिक, पूल में तैरना सुरक्षित हो सकता है अगर तैराकी पानी के भीतर और बाहर सामाजिक दूरी के दिशा-निर्देशों का पालन करें।
अमेरिका के रोग नियंत्रण एवं रोकथाम केंद्र के अनुसार, इस बात के कोई सबूत नहीं हैं कि कोविड-19 विषाणु पूल, टब, समुद्रों या नदियों के पानी में व्यक्तियों के बीच भी फैल सकता है। स्वास्थ्य अधिकारियों के मुताबिक, पूल में इस्तेमाल होने वाला क्लोरीन विषाणुनाशक होता है, जो रोगाणुओं का खात्मा कर सकता है।
हालांकि, भीड़ का जमा होना अब भी खतरे का सबब है, इसलिए जो पूल तथा समुद्र तटों को फिर से खोल रहे हैं, उन्हें लोगों की संख्या को सीमित करने और चेहरे पर मास्क लगाने जैसे अस्थायी नियम लागू करना चाहिए।
गर्मी की छुट्टियों का लोग साल भर से इंतजार करते हैं, ताकि परिवार के साथ मौज-मस्ती की जा सके। कोविड-19 ने सबके अरमानों पर पानी फेर दिया है। अब लोग घूमने-फिरने की बजाए तैराकी या जिम जैसे अपने शौक पूरा करके अपने आपको व्यस्त रखना चाहते हैं।
क्षेत्रीय चिकित्सा निदेशक डॉ रॉबर्ट किगले ने कहा है कि जो लोग इस गर्मी में पूल या समुद्र तटों में जा रहे हैं, उन्हें लोगों से कम से कम छह फुट की दूरी बनाने, चेहरे को ढकने, बार-बार हाथ धोने और अगर तबीयत ठीक नहीं है तो घर में रहने जैसी सलाहों का पालन करना चाहिए।